विस्थापितों का जनआक्रोश: पंचायत की मांग को लेकर हाथों में कुल्हाड़ी, झाड़ू, तलवार और काला गुब्बारा लेकर सड़कों पर उतरे ग्रामीण
बोकारो, झारखंड – बोकारो जिले के उत्तरी क्षेत्र के 20 विस्थापित गांवों को स्वतंत्र पंचायत का दर्जा देने की मांग को लेकर आंदोलन तेज हो गया है। भाजपा नेता एवं शिक्षाविद डॉ. प्रकाश सिंह के नेतृत्व में मंगलवार को कनफट्टा गांव में “जनआक्रोश सभा” का आयोजन किया गया, जिसमें सैकड़ों ग्रामीणों ने भाग लिया।

इस प्रदर्शन में पुरुष, महिलाएं और बुजुर्ग पारंपरिक परिधान में हाथों में कुल्हाड़ी, झाड़ू, डंडा, तलवार और काले गुब्बारे लेकर सड़कों पर उतरे। उन्होंने ‘झारखंड सरकार हाय-हाय’, ‘हमें पंचायत चाहिए’, ‘संवैधानिक अधिकार दो’, ‘लोकतांत्रिक आजादी दो’ जैसे नारे लगाकर सरकार के खिलाफ आक्रोश जताया।
सभा के दौरान मंचासीन लोगों में कई वरिष्ठ नागरिक, महिलाएं और युवा मौजूद थे, जिन्होंने भारतीय संविधान और पंचायती राज व्यवस्था की दुहाई देते हुए शांतिपूर्ण लेकिन सशक्त प्रदर्शन किया। उनके हाथों में तिरंगे झंडे थे और उनका कहना था कि वे केवल अपना संवैधानिक अधिकार मांग रहे हैं।
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ग्रामीणों ने कहा कि दशकों से विभिन्न सरकारें और नेता उन्हें सिर्फ आश्वासन देते आए हैं, लेकिन आज तक कोई ठोस पहल नहीं की गई। अब उन्होंने भाजपा नेता डॉ. प्रकाश सिंह को अपने आंदोलन का नेतृत्व सौंपा है, जिनपर उन्हें भरोसा है।
सभा को संबोधित करते हुए डॉ. प्रकाश सिंह ने कहा:
“विस्थापितों का यह आंदोलन पूरी तरह गांधीवादी और लोकतांत्रिक तरीके से चलेगा। हम सरकार को झुकाने तक आंदोलन जारी रखेंगे और पंचायत का अधिकार लेकर रहेंगे। यह विस्थापितों का हक है, भीख नहीं।”
डॉ. सिंह ने झारखंड सरकार को 15 दिनों की मोहलत देते हुए चेतावनी दी कि यदि मांगे नहीं मानी गईं तो आंदोलन को और उग्र रूप दिया जाएगा।
